केंद्र की बीजेपी की मोदी सरकार ने लोकसभा चुनाव से ठीक पहले बड़ा दांव चलते हुए नागरिकता संशोधन कानून लागू करने का ऐलान करते हुए नोटिफिकेशन जारी कर दिया है। यह कानून बीजेपी के 2019 घोषणापत्र का हिस्सा था।
The Modi Government announces implementation of Citizenship Amendment Act.
नई दिल्ली: लोकसभा चुनावों के ऐलान से पहले केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार बड़ा दांव चल सकती है। सूत्र दावा कर रहे हैं कि आज देर रात गृह मंत्रालय नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) का नोटिफिकेशन जारी कर सकता है। बता दें कि पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से आए बिना दस्तावेज वाले गैर-मुस्लिम प्रवासियों को तेजी से नागरिकता देने के लिए नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) 2019 में पास हुआ था। इसके पास होने के बाद देशभर में विरोश प्रदर्शन हुए थे। दिल्ली के शाहीन बाग आंदोलन ने पूरी दुनिया का ध्यान अपनी ओर खींचा था।
नियमों के तहत किसे मिलेगी नागरिकता?
सीएए के नए कानूनों के तहत मोदी सरकार बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान से 31 दिसंबर, 2014 तक आए प्रताड़ित गैर-मुस्लिम प्रवासियों – हिंदू, सिख, जैन, बौद्ध, पारसी और ईसाइयों – को भारतीय नागरिकता देना शुरू कर देगी। गौरतलब है कि सीएए दिसंबर 2019 में पारित हुआ था और इसे राष्ट्रपति की मंजूरी मिल गई। हालांकि, अभी तक कानून को लागू नहीं किया जा सका है और इसके क्रियान्वयन के लिए नियम जरूरी हैं। गृह मंत्रालय ने आवेदकों की सुविधा के लिए एक पोर्टल तैयार किया है और पूरी प्रक्रिया ऑनलाइन होगी। एक अधिकारी ने बताया कि आवेदकों को घोषित करना होगा कि वे किस वर्ष बिना यात्रा दस्तावेजों के भारत में आए थे। आवेदकों से कोई दस्तावेज नहीं मांगा जाएगा। कानून के अनुसार सीएए के तहत तीनों पड़ोसी देशों के बिना दस्तावेज वाले अल्पसंख्यकों को लाभ मिलेगा।
CAA देश का कानून, विपक्ष कर रहा लोगों को गुमराह- अमित शाह
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने 27 दिसंबर को कहा था कि कोई भी सीएए के क्रियान्वयन को नहीं रोक सकता क्योंकि यह देश का कानून है। उन्होंने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर इस मुद्दे पर लोगों को गुमराह करने का आरोप लगाया। शाह ने कोलकाता में भाजपा की एक सभा को संबोधित करते हुए कहा था कि सीएए लागू करना पार्टी की प्रतिबद्धता है।